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Who gets through Jugaad in Madhya Pradesh Vyapam exam? , Is the Vyapam scam still going on? Why it is very easy to scam in the online examination system

मध्य प्रदेश व्यापम की परीक्षा में जुगाड़ से कौन पास करवाता है? | क्या अभी भी व्यापम घोटाला जारी है | ऑनलाइन परीक्षा प्रणाली में घोटाला करना बेहद आसान क्यों है

मध्य प्रदेश व्यापम की परीक्षा में जुगाड़ से कौन पास करवाता है? | क्या अभी भी व्यापम घोटाला जारी है | ऑनलाइन परीक्षा प्रणाली में घोटाला करना बेहद आसान क्यों है

Who gets through Jugaad in Madhya Pradesh Vyapam exam? , Is the Vyapam scam still going on? Why it is very easy to scam in the online examination system

ऑनलाइन परीक्षा प्रणाली में घोटाला करना बेहद आसान क्यों है?

जब से मध्यप्रदेश में ऑनलाइन परीक्षा प्रणाली का आरंभ हुआ है तब से घोटाले इतने आसान हो गए हैं कि व्यापम के उच्च अधिकारी तक को भी पता नहीं चल सकता क्योंकि ऑनलाइन परीक्षा कराने का जिम्मा प्राइवेट कंपनी टीसीएस जैसी कंपनियों को दिया गया है, व्यापम में तकनीकी निगरानी समिति जो बनाई गई है उसके आंख में पर्दा डालकर टीसीएस आसानी से किसी भी अभ्यर्थी का सिलेक्शन कर सकती है यहां पर मै टीसीएस का नाम इसलिए लिख रहा हूं क्योंकि अभी तक टीसीएस के द्वारा ही हुई परीक्षाओं का संचालन किया गया था यहां तक कि एमपी ऑनलाइन पोर्टल को भी पीसीएस के द्वारा ही संचालित किया जाता है। 

चलिए अब आसान भाषा में समझते हैं कि ऑनलाइन माध्यम से ऑफलाइन माध्यम के अपेक्षाकृत घोटाला करना कैसे आसान है

जैसा कि आप सभी जानते हैं कि ऑफलाइन माध्यम में एक ओएमआर शीट मिलती थी और उसमें पेन से गोला लगाया जाता था पिछले घोटाले में पाया गया कि ब्लैंक सीट मंगाई जाती थी और अध्यापन के अंदर ब्लैंक सीट को भरा जाता था तथा अभ्यर्थी को पास किया जाता था। 
वर्तमान में ऑनलाइन परीक्षा प्रणाली होने के कारण परीक्षार्थी पेपर को किसी भी ढंग से अटेंड करें उसे एक क्लिक में सारे आंसर को सही किया जा सकता है और काकी के पकड़े जाने की संभावना भी नहीं है जैसा कि पिछली बार ब्लैंक कॉपी को पकड़ा गया जिसे पास घोषित किया गया था व्यापम ने इतनी अलग दिखाई की गोली तक नहीं भरे। व्यापम घोटाले में किसी चपरासी आदि व्यक्ति से गोद भराई का काम करता था लेकिन अब ऑनलाइन परीक्षा में गोली भरने जैसा कोई काम नहीं है केवल सिंगल क्लिक से घोटाले किए जा सकते हैं। अब आपको कुछ ना कुछ तो समझ में आ ही गया होगा कि ऑनलाइन माध्यम से घोटाला करना कितना आसान है यदि सभी अभ्यर्थी इस बात का विरोध नहीं करेंगे तो वास्तविकता में जिसे नौकरी मिलना चाहिए उसे नौकरी कभी नहीं मिल पाएगी। 

ऑनलाइन परीक्षा प्रणाली का विरोध क्यों करना चाहिए?

सभी अभ्यर्थी अभी तक इतना तो समझ ही चुके होंगे की ऑनलाइन परीक्षा आवेदकों के हित में बिल्कुल नहीं है खासकर ऐसे आवेदक जो की जुगाड़ नहीं लगा सकते और मेरे हिसाब से ज्यादातर ऐसे ही अभ्यर्थी है जुगाड़ नहीं लगा सकते हैं नहीं लगा सकते उन्हें एकजुट होकर इस सिस्टम का विरोध करना अति आवश्यक है। 
या मेरे द्वारा लिखी गई बातें यहां पर यदि गलत साबित हो रही हैं तो आप कमेंट के माध्यम से मुझे बताएं कि किस प्रकार से ऑनलाइन परीक्षा ज्यादा पारदर्शी है अभी तक के मेरे अनुभव में ऑनलाइन परीक्षा बिल्कुल पारदर्शी नहीं है। 

ऑफलाइन परीक्षा प्रणाली के फायदे

जैसा कि आप सभी जानते हैं कि ऑफलाइन परीक्षा जब होती थी तब एक दिन ही सभी का पेपर हो जाता था और लगभग सभी जिलों में सेंटर बनाया जा सकता था और बनाया ही जाता था इस कारण लोगों को ज्यादा दूरी का सफर नहीं करना पड़ता था और 1 दिन में पेपर हो जाने से सभी को एक जैसा पेपर मिलता था और जैसा मैंने अभी ऊपर लिखा था कि व्यापम घोटाले में ओएमआर शीट को तो कम से कम भरना पड़ा था परीक्षार्थी को पास करने के लिए और यहां पर तो सिंगल क्लिक में पेपर को बदला जा सकता है इसलिए इस लेख के माध्यम से मैं सभी आवेदकों से अपील करना चाहता हूं कि इस सिस्टम का विरोध करें एक यूनियन बनाएं एक संगठन बनाएं और शिवराज सरकार का घेराव करें। 

2023 में निकाली जाने वाली ज्यादातर भर्तियां हो जाएंगी कैंसिल जाने क्यों?

वैसे भी आप सभी को पता होगा कि 2023 में जो भर्तियां निकाली जा रही हैं यह सभी भारतीय एक तरह की लॉलीपॉप है क्योकि यदि वर्तमान सरकार ही बन जाती है तो यह सरकार इन सभी भर्तियों को लीपापोती करेगी जैसे कि पेपर लीक बहाना …. आदि बहाने लगा सकती है , जैसा कि आप न्यूज़ में सुनते रहते हैं 
दूसरे पहलू की बात करें यदि दूसरी सरकार आ जाती है तो दूसरी सरकार इस सरकार के द्वारा निकाली गई भर्तियों को कैंसिल करेगी और जो भी भर्ती निकाले कि वह अपने हिसाब से निकालेंगे। 

यदि आप विरोध नहीं कर सकते तो आप सरकारी नौकरी से वंचित रह जाएंगे

वर्तमान में मध्य प्रदेश की सरकारी नौकरियों की बात करें तो एमपी पटवारी फॉरेस्ट गार्ड शिक्षक भर्ती वर्ग 2 और 3 कई भर्तियां सामने दिखाई दे रही हैं, लेकिन यह सभी भर्तियां लॉलीपॉप हो सकती हैं। 
विरोध क्यों करना आवश्यक है इस संबंध में मैं यह कहना चाह रहा हूं कि यदि आपको सरकारी नौकरी करनी है और तैयारी आपकी व्यर्थ ना जाए इसलिए आप इस ऑनलाइन परीक्षा प्रणाली का तिरस्कार करते हुए सभी जिलों में मुख्यालयों में कलेक्टर कार्यालय का तो कम से कम घर आओ शुरू करें और बड़े स्तर की ओर बढ़े शीघ्र ही आप सफल होंगे ऑनलाइन परीक्षा बंद हो जाएगी और फिर से पुरानी पद्धति ऑफलाइन परीक्षा जो कुछ हद तक सही था शुरू हो जाएगी। 

मध्य प्रदेश व्यावसायिक परीक्षा मंडल व्यापम की पुरानी छवि के अनुसार व्यापम की समीक्षा

 मध्य प्रदेश व्यापम अपने घोटाले के लिए जाना जाता है व्यापम घोटाला से तो आप सभी परिचित हैं व्यापम घोटाला होने के बाद ही व्यापम ने अपना नाम एंपलाई सिलेक्शन बोर्ड कर लिया है लोग कहते हैं कि मध्य प्रदेश व्यापम परीक्षा में जुगाड़ से कुछ लोग पास हो जाते हैं लेकिन सबसे बड़ा सवाल यह है कि …..आखिर जुगाड़ लगाता कौन है?

व्यापम घोटाले में कितने तरह के लोगों के शामिल होने की संभावना रहती है

इसका जवाब है जुगाड़ लगाने के लिए 3 तरह के लोग शामिल होते हैं पहला तो राजनीतिक दलों के लोग और दूसरे विभागीय उच्च अधिकारी और तीसरे तकनीकी अधिकारी शामिल होते हैं इन तीनों लोगों की डील होती है और एक रकम तय होती है उस रकम को अदा करने वाले अभ्यर्थियों का चयन जुगाड़ से किया जाता है।

मैं दावे के साथ यह नहीं कह सकता कि अभी भी यह कार्यक्रम चल रहा है कि नहीं लेकिन पिछले घोटालों में ऐसी जानकारी निकलकर आई थी तब ऑनलाइन टेस्ट नहीं होते थे तो तकनीकी अधिकारी की जरूरत कम थी अब ऑनलाइन टेस्ट हो रहा है और इसमें सुधार करना और किसी को पास करना बेहद आसान है इस परीक्षा में तकनीकी अधिकारी को भी शामिल किए जाने की संभावना है। 

लिखावट के लिए स्पष्टीकरण – यह लेख वॉइस टाइपिंग के माध्यम से टाइप किया गया है , अशुद्धियों के लिए खेद है, ज्यादातर अशुद्धियों को आप खुद ही करेक्ट करके पढ़ सकते हैं धन्यवाद